खांसी

मौसम परिवर्तन या मौसम की संधि के आने पर खांसी का प्रकोप बड जाता है |
बरसात की समाप्ति तथा सर्दी के आगमन पर खांसी प्रकोप तेजी से बडता है|घर मे एक व्यक्ति को खांसी होने पर बाकी अन्य सदस्यों को भी आसानी से khansi होती है |
ठंडी चीजे खाने या गर्म स्थान से ठंडे में जाने पर गले में खिचखिच शुरू होकर गले में खांसी का रूप धारण कर लेती है |लापरवाही के कारण यह तेजी से फैलता है |
छाती में कफ जमा होने लगता है ,जिससे घर घर में खो-खो की आवज होती है |
जब श्वास आसानी से नही आता -जाता तब यह इसके रूप में जोर से बाहर निकलती है |इससे गला दुखने लगता है ,सर में दर्द तथा कुछ भी अच्छा नही लगता है | khansi का मरीज रात को सो नही पाता|
सुबह-शाम जब मौसम में आद्रता होती है , तब इसका प्रकोप -वेग बढ़ जाता है|
खांसी के प्रकार :
यह दो प्रकार की होती है | सुखी और कफ-थूक के साथ गीली खांसी |
सुखी खांसी में खांसने पर मरीज को जल्दी चैन नहीं आता है| परंतु तरल में कफ निकलने पर इसका वेग कम हो जाता है|
वास्तव में यह कोई रोग नही है , बल्कि यह फैकड़ो की गंदगी निकालने का एक प्राकृतिक उपाय है |
जब फैकड़ो में बलगम भर जाती है और स्वतः नही निकलती तो प्रकृती खांसी द्वारा निकाल करके फेकड़ो की सफाई का प्रयास करती है |
दूषित वातावरण में मौजूत धुआ ,हवा ,पानी और धूलकन भी शवास नली में प्रवेश करके cough पैदा करता है |
खांसी के कारण :
निम्म कारणों से khansi अकसर होती है |
- ठंडे-गर्म वातावरण में रहने के कारण |
- एलर्जी के कारण |
- cough के मरीज के सम्पर्क में आना |
- ठंडी के चेपट में आने के कारण |
- तेज धुप में चलकर आने के बाद ठंडा पानी पिने के करण |
- अत्यधिक ठंडी चीजो का सेवन करने से |
खांसी का घरेलू उपाय :
निम्मलिखित नुख्से बड़े कारगर है |
- गरम पानी में नमक डालकर गरारे करे |इससे गले के संक्रमण में लाभ मिलेगा |
दिन में तिन- चार बार भाप लेना भी हितकर होता है | - मौसमी खांसी के लिए अदरक का रस निकलकर उसमे शहद मिलाकर सीरप बना ले ,दिन में तीन बार एक -एक चम्मच सेवन करे |
इससे बहुत लाभ मिलेगा |रोगी को भाप भी देते रहे | - अदरक तथा शहद में चुटकी भर काला नमक मिलाकर सुबह, दोपहर और
रात को भोजन के आधा घंटा बाद लगातार सप्ताह भर लेने से लाभ मिलेगा | - रात को सोते समय भुनी हल्दी की गाँठ दाढ़ के निचे दबा ले और धीरे-धीरे चुसे , इसे खांसी में आराम मिलेगा |
- अदरक का रस निकालकर उसमे संभाग शहद व थोड़ी काली मिर्च सिरप बनाले|
एक एक चम्मच दिन में तिन बार पिलाए | - यदी गर्भवती स्त्री खांसी से पीड़ित है तोह आधा कप दूध, आधा कप पानी तथा 3 ग्राम बड़ी इलायची का चूरन डालकर उबाले|
जब आधा बच जाए तो उतार ले| इसमे एक चम्मच शहद मिलाकर सुबह शाम सेवन करनेसे लाभ मिलेगा| - लावंगादि वटी २-२ गोली दिन में 3 बार चूसने को दे|
- रात को सोने से पहले एक चम्मच हल्दी पाउडर गुनगुने पानी के साथ सेवन करे|
- मुलहठी का चूरन दो कप पानी में उबाले तथा उसमे चटकी भर नमक मिलाकर सुबह शाम पिए|
इससे फेफड़ो में जमा हुआ बलगम निकलकर बहार आयेगा| - जादा गला खराब होने पर मुलहठी का टुकड़ा मुह में रखकर चुसे|
- तुलसी के रस में शहद मिलाकर सुबह शाम चाटे|